कारगिल विजय दिवस
- rajaramdsingh
- Jul 26, 2024
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*कारगिल विजय दिवस*
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सीमा पर
रक्तधार के बदले अश्रुधार जहां बहता है ।
वह देश कभी स्वाधीन नहीं रहता है ।।
हम स्वाधीन हैं क्योंकि
*3 मई 1999 से 26 जुलाई 1999 तक* *कारगिल* की बर्फीली चोटियों पर हमने इतना खून बहाया कि भारत मां का आंचल आजतक लाल है ,,,,,,
नमन उन मतवालों का जो प्राण तो दिए लेकिन ऑपरेशन विजय को पराजय में नहीं बदलने दिए
*वीर जवानों का इतिहास जगमग है ,*
*वीरतावंघि से भरी जिनकी रग रग है ।*
*जिन्होंने कितने रण झेल चुके हैं ,*
*वतन की रक्षा में सूली शोलों से खेल चुके हैं ।*
*उस वीर जाति को बंदी कौन बनाएगा ,*
*धधकती आग मुट्ठी में कौन उठाएगा ।*
हमारे वीर जवान कहते हैं
*आफत आ पड़े तो भी नहीं डरना ,*
*जन्में हैं तो दो बार नहीं है मरना ।*
*मस्तक पर रक्त का तिलक नहीं लगा,*
*तो जवानी का हक अदा नहीं हुआ ।।**
कारगिल विजय दिवस पर चार पंक्तियां अपने
शहीद जवानों के नाम ,,,,,,,,
*शान बढ़ाया देकर अपना ,कारगिल में जान ।*
*धन्य है तू भारत माता , धन्य तेरे जवान ।।*
*छोड़ा मोह तोड़ा नाता ,अपने घर परिवार से ,*
*देश के खातिर मां पिताजी ,पत्नि के प्यार से ।*
*जाकर के लहराया तिरंगा,ऊंचा आसमान ,*
*धन्य है तू भारत माता , धन्य तेरे जवान ।।*
*किया था नवाज हमसे , भारी तू गद्दारी ,*
*दोस्ती का हाथ जब, बढ़ाए अटल बिहारी ।*
*करके गद्दारी हमसे, किया अपना नुकसान,*
*धन्य है तू भारत माता , धन्य तेरे जवान ।।*
*जब तक जहां में जगमग, सूरज चांद करेगा ,*
*शहीद जवान का तब तक, अमिट नाम रहेगा ।*
*राजाराम रघुवंशी का,दिल में यही अरमान,*
*धन्य है तू भारत माता ,धन्य तेरे जवान ।।* ,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,
राजाराम सिंह रघुवंशी , 26 जुलाई 2024
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